द न्यूज गली, नोएडा: नोएडा और ग्रेटर नोएडा में बिल्डरों की 43 परियोजनाओं पर लीज प्रीमियम पर 580 करोड़ रुपये का जीएसटी बकाया है। राज्य जीएसटी विभाग गौतम बुद्ध नगर ने इन परियोजनाओं से संबंधित बिल्डरों को नोटिस जारी किया है। बिल्डरों को टैक्स भुगतान के लिए एक महीने का समय दिया गया है। तय समय पर भुगतान नहीं करने पर विभाग सख्त कार्रवाई करेगा।

2018-19 से बढ़ रहा है बकाया
अपर आयुक्त राज्य कर, गौतम बुद्ध नगर, चांदनी सिंह ने बताया कि यह बकाया 2018-19 से अब तक का है। लीज प्रीमियम पर 18 प्रतिशत जीएसटी लगाया गया है, जो 580 करोड़ रुपये तक पहुंच गया है। कुछ बिल्डरों ने अब तक 30 करोड़ रुपये का भुगतान कर दिया है, जबकि अन्य ने समय मांगा है।

नियमों का पालन न करने पर कार्रवाई
विभाग ने स्पष्ट किया है कि जो बिल्डर टैक्स जमा नहीं करेंगे, उनके खिलाफ नियमों के अनुसार सख्त कार्रवाई की जाएगी। चांदनी सिंह ने यह भी बताया कि अभी और बिल्डरों को दायरे में लाने के लिए जानकारी जुटाई जा रही है।

लीज डीड और सब-लीज पर भी बनेगी देनदारी
उन्होंने बताया कि कई बिल्डरों ने अपनी जमीन को सब-लीज पर दिया है। ऐसे मामलों में लीज और सब-लीज दोनों पर जीएसटी लागू होगा। यदि किसी परियोजना पर विकास अधिकारों का हस्तांतरण किया गया है, तो उस पर भी टैक्स लगाया जाएगा। इसके अतिरिक्त, यदि मार्केटिंग का ठेका किसी कंपनी को दिया गया है, तो उसकी भी टैक्स देनदारी बनेगी।

प्राधिकरणों से मांगी गई जानकारी
विभिन्न प्राधिकरणों से सभी बिल्डरों को आवंटित भूखंड, आकार और भुगतान से जुड़ी जानकारी मांगी गई है। एक सप्ताह के भीतर यह विवरण जीएसटी विभाग को उपलब्ध कराया जाएगा।

बिल्डरों के मुख्यालय अन्य शहरों में
कुछ बिल्डर गौतम बुद्ध नगर में पंजीकृत नहीं है जबकि उनके मुख्य कार्यालय गाजियाबाद, मेरठ और लखनऊ में हैं। ऐसे बिल्डरों की जानकारी संबंधित क्षेत्र के जीएसटी अधिकारियों को भेजी जाएगी।