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-कार्यक्रम में विभिन्न देशों के लोगों ने भी लिया हिस्सा
-हिंदी को आगे बढ़ाने में विश्व हिंदी सचिवालय, मॉरीशस का प्रयास सराहनीय
द न्यूज गली, ग्रेटर नोएडा: विश्व हिंदी सचिवालय, मॉरीशस के द्वारा प्रतिवर्ष अभिव्यक्ति कार्यक्रम का आयोजन किया जाता है। कार्यक्रम में विश्व के विभिन्न देशों के हिंदी विशेषज्ञों को आमंत्रित किया जाता है। विश्व हिंदी सचिवालय की महासचिव डाक्टर माधुरी रामधारी ने भारत से डाक्टर विनोद प्रसून को विशेष रूप से आमंत्रित किया था। डाक्टर विनोद वर्तमान में दिल्ली पब्लिक स्कूल, ग्रेटर नोएडा के हिंदी विभागाध्यक्ष होने के साथ ही सीआईईटी-एनसीईआरटी, के विषय विशेषज्ञ एवं सारंगी-पाठ्यपुस्तक निर्माण समिति के सदस्य हैं। कार्यक्रम में अमेरिका, उज़्बेकिस्तान, भारत, बुल्गारिया, बहरीन व तंजानिया से जुड़े वक्ताओं ने हिस्सा लिया।
हिंदी के सही रूप को अपनाने पर बल
कार्यक्रम में अमेरिका से गणित की अध्यापिका नीना सरीन ने स्कूल के बाद हिंदी के लिए किए जा रहे अपने प्रयासों से अवगत करवाया और पाँचवीं कक्षा की उनकी छात्रा अनुजा नेरे ने मधुबनी कला पर आत्मविश्वास से भरी प्रस्तुति दी। उज़्बेकिस्तान से डाक्टर सिरोजिद्दीन नुर्वातोव और एमए की उनकी छात्रा एवं हिंदी अध्यापिका मख़्फ़ुज़ा मिर्ज़ामुरोदोवा ने उज़्बेकिस्तान में अपने हिंदी प्रेम और उसके प्रचार-प्रसार के बारे में बताया। भारत से डाक्टर आरती पाठक ने भाषा विज्ञान से जुड़े शिक्षण तथा अपने प्रयोगों से अवगत करवाया और उनकी छात्रा निक्की ने हिंदी भाषा को लेकर आगे बढ़ने में किए गए अपने संघर्ष के बारे में बताकर सुंदर काव्य-पाठ किया। बहरीन से जुड़े खाड़ी हिंदी परिषद के संस्थापक राम मणि तिवारी जी ने बोलचाल में हिंदी के सही रूप को अपनाने का आह्वान किया।
प्रचार के प्रयासों को सराहा
अध्यक्षीय संबोधन में डाक्टर विनोद ने डाक्टर माधुरी रामधारी के कुशल नेतृत्व में विश्व हिंदी सचिवालय द्वारा हिंदी के वैश्विक प्रचार-प्रसार के लिए किए जा रहे प्रयासों की सराहना की। उन्होंने भाषा विज्ञान के शिक्षण में सहज ध्वनि बोध के लिए लयात्मक नवाचार व अवधारणा गीतों के सृजन की आवश्यकता पर बल दिया और विदेशों में हिंदी को आगे बढ़ाने के लिए वर्णमाला को मधुर गीत की तरह सिखाए जाने का आह्वान किया और अपने प्रसिद्ध हिंदी गीत ‘सरस, सरल मनोहारी है, अपनी हिंदी प्यारी है’ की मधुर प्रस्तुति से वातावरण को हिंदीमय बना किया।